देवता+ओं द्वारा बालकों की रक्षा.
व्यंतराश्च भवनाधिवासिनोऽष्टप्रकारविभवोपलक्षिताः ।
पांति बालमशुभग्रहार्दितं स्पष्टमृष्टबलितुष्टचेतसः ॥ ११४ ॥
भावार्थः--The Hindi commentary was not digitized.